आतंकवादियों ने जम्मू कश्मीर के गांदरबल में किया हमला, 6 की मौत और 5 घायल
जम्मू कश्मीर के गांदरबल जिले के गगनगीर क्षेत्र में एक निर्माण स्थल पर आतंकवादियों द्वारा की गई फायरिंग में एक डॉक्टर और पांच श्रमिकों की मौत हो गई है। यह हमला उस समय हुआ जब मजदूर सुरंग निर्माण परियोजना पर काम कर रहे थे। घटना के तुरंत बाद, घायलों को नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उनकी स्थिति गंभीर बताई जा रही है।
आधिकारिक सूत्रों के अनुसार, आतंकवादियों ने मजदूरों के शिविर पर अंधाधुंध गोलीबारी की। मृतकों में एक डॉक्टर शाहनवाज और अन्य श्रमिक शामिल हैं। इस हमले ने क्षेत्र में सुरक्षा स्थिति को और भी चिंताजनक बना दिया है, क्योंकि यह हाल के महीनों में गैर-स्थानीय मजदूरों को लक्षित करने वाला एक नया हमला है।
मृतकों की पहचान और चिकित्सा सहायता
मृतकों में डॉक्टर शाहनवाज, अनिल कुमार शुक्ला, मोहम्मद फहीम और गुरमीत सिंह (गुरदासपुर, पंजाब) शामिल हैं। इसके अलावा, दो मृत श्रमिकों की पहचान अभी तक नहीं हो पाई है।
घायलों में इंदर यादव, मोहन लाल और फैयाज अहमद लोन जैसे नाम शामिल हैं, जिनका इलाज जारी है।घायलों को कंगन के उप जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उनकी हालत गंभीर बनी हुई है। अधिकारियों ने बताया कि कुछ घायलों को बेहतर इलाज के लिए श्रीनगर के एसकेआईएमएस अस्पताल भेजा गया है। यह घटना स्थानीय समुदाय के लिए एक बड़ा सदमा है, जो पहले से ही सुरक्षा चिंताओं का सामना कर रहा है।
मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला की प्रतिक्रिया
जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने इस कायरतापूर्ण हमले की कड़ी निंदा की है। उन्होंने सोशल मीडिया पर लिखा, “सोनमर्ग क्षेत्र के गगनगीर में गैर-स्थानीय मजदूरों पर कायरतापूर्ण हमले की दुखद खबर। मैं निहत्थे निर्दोष लोगों पर हुए इस हमले की कड़ी निंदा करता हूं और उनके प्रियजनों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त करता हूं।”
उन्हें उम्मीद है कि घायल लोग जल्दी ठीक होंगे और सरकार इस मुद्दे पर गंभीरता से ध्यान देगी। उन्होंने कहा कि सुरक्षा बल पूरी कोशिश कर रहे हैं कि हमलावरों को जल्द से जल्द पकड़ा जाए। यह हमला ऐसे समय में हुआ है जब जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा स्थिति काफी संवेदनशील है।
सुरक्षा बलों का सर्च ऑपरेशन
इस घटना के बाद सुरक्षा बलों ने पूरे इलाके को घेर लिया है और हमलावरों का पता लगाने के लिए तलाशी अभियान शुरू किया है। पुलिस ने बताया कि प्रारंभिक जांच से पता चला है कि इस हमले में कम से कम दो आतंकवादी शामिल थे।सुरक्षा बलों ने क्षेत्र को छावनी में तब्दील कर दिया है ताकि किसी भी संभावित खतरे को रोका जा सके। इससे पहले भी जम्मू-कश्मीर में कई बार गैर-स्थानीय मजदूरों को निशाना बनाया गया था, जिससे स्थानीय समुदाय में डर का माहौल बना हुआ है।
यह हमला हाल ही में शोपियां जिले में एक बिहार निवासी मजदूर की हत्या के बाद हुआ है, जो इस बात का संकेत देता है कि आतंकवादी गतिविधियाँ फिर से बढ़ रही हैं। पिछले कुछ महीनों में कई नागरिकों और सुरक्षाबलों पर हमले हुए हैं, जिससे क्षेत्र की सुरक्षा स्थिति चिंताजनक हो गई है।इस प्रकार की घटनाएं केवल स्थानीय समुदाय को ही नहीं, बल्कि पूरे देश को प्रभावित कर रही हैं। राजनीतिक नेताओं ने भी इस मुद्दे पर चिंता व्यक्त की है और सरकार से ठोस कदम उठाने का आग्रह किया है।